ये पढ़ना है तुमको, कागज पर पढ़नी है, मन कि भाषा ये पढ़ना है तुमको, कागज पर पढ़नी है, मन कि भाषा
किताबें भी , एक दिमाग रखती हैं। जिंदगी के, अनगिनत हिसाब रखती हैं। किताबें भी , एक दिमाग रखती हैं। जिंदगी के, अनगिनत हिसाब रखती हैं।
ऐ परिंदे कभी नीचे आसमान से आ वक्त हो तो घर मेरे किसी शाम को आ, ऐ परिंदे कभी नीचे आसमान से आ वक्त हो तो घर मेरे किसी शाम को आ,
गुणों का गुणा करता रहे जन श्रेष्ठ सज्जन गुणों का गुणा करता रहे जन श्रेष्ठ सज्जन
हर पल पर- हित का चिंतन करें, वे सब ही जन हैं सच्चे सुपर-मैन। हर पल पर- हित का चिंतन करें, वे सब ही जन हैं सच्चे सुपर-मैन।
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